Gonda: गोंडा में एक झोलाछाप डॉक्टर की हत्या होने के मामले में वहीं के रहने वाले एक लाइनमैन को पुलिस ने पूछताछ के लिए बुलाया था. बताया जा रहा है कि लाइनमैन के पिता अपने गांव के प्रधान के दामाद को लेकर पुलिस थाने पहुंचे. इसके बाद पुलिस थाने के पीछे बने एक कमरे में एसओजी और प्रभारी निरीक्षक युवक को उधर लेकर चले गए. पिता ने प्रभारी निरीक्षक और एसओजी पर आरोप लगाया है कि उन्होंने उसके बेटे की हत्या कर दी है.

पिता ने बताया कि प्रभारी निरीक्षक ने आकर मुझे जानकारी दी कि आपका बेटा बेहोश हो चुका है. उसे इलाज के लिए जिला अस्पताल भेजा गया तो वहां भर्ती नहीं किया गया और थोड़ी देर बाद एंबुलेंस से उसका शव घर भेज दिया गया.

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यह मामला नवाबगंज के एक झोला छाप डॉक्टर की हत्या गांव है. इस हत्या की खोजबीन के लिए एसपी ने प्रभारी निरीक्षक के साथ एसओजी को भी जांच में लगाया था. राझा मठ के निवासी रामबचन यादव ने बताया कि उनके पहले देवनारायण लाइनमैन का काम करता है. पिता ने पुलिस पर आरोप लगाया है कि पुलिस ने देवा को झोलाछाप डॉक्टर की हत्या की तफ्तीश के लिए बुलाया था. बताया था कि उसका नंबर सीडीआर पर ट्रेस किया गया है.

इसलिए वह अपने बेटे के साथ गांव प्रधान के दामाद को भी लेकर पुलिस थाने पहुंच गए.इसके बाद देवा को प्रभारी निरीक्षक और एसओजी पीछे बने कमरे में लेकर चले गए. जबकि वह दामाद के साथ बाहर कमरे में बैठा था.

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पिता ने प्रभारी निरीक्षक और एसओजी पर देवा की हत्या का आरोप लगाया है. पिता ने बताया कि दोनों ने पीट-पीटकर मेरे बेटे की हत्या कर दी है. बाद में देवा को जिला अस्पताल भेजा गया लेकिन वहां भी उसे भर्ती नहीं किया गया और थोड़ी देर बाद एंबुलेंस में उसका शव घर पर लाया गया.

बेटे की मृत्यु पर परिजन हंगामा करते रहे लेकिन प्रभारी निरीक्षक और एसओजी में से कोई भी मौके पर नहीं पहुंचा. इसके बाद शव को मोर्चरी में ले जाने के लिए परिजनों और पुलिस में काफी बहस हुई. प्रभारी निरीक्षक आकाश तोमर ने बताया कि इस घटना की जानकारी हमें मिली है. डीआईजी विनोद कुमार ने भी नवाबगंज थाने पहुंचकर घटना की छानबीन करना शुरू कर दिया है.

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